साल 2017 में सहारनपुर में हुई हिंसा के बाद सुर्खियों में आई भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर आजाद ने कहा कि बहुजन समाज पार्टी मुद्दों से भटक गई है. लिहाजा, उन के नए सियासी दल में ईमानदार और समर्पित नौजवानों की भागीदारी रहेगी. वे ‘एक नोट एक वोट’ के फार्मूले पर अपनी पार्टी की बुनियाद रखेंगे. ऐसा माना जा रहा है कि कांशीराम का जन्मदिन 15 मार्च को है, उस दिन या उस से पहले इस का ऐलान कर दिया जाएगा.

यह दलित वोटों में विभाजन करेगा और वे भारतीय राजनीति में निरर्थक हो जाएंगे.

बागी हुए प्रशांत किशोर

पटना. अपनी चाणक्य वाली सोच से बड़ेबड़े नेताओं को तारने वाले प्रशांत किशोर फिलहाल बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सारथी बने हुए हैं, पर कब तक उन का साथ देंगे, कह नहीं सकते.

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दरअसल, इस नए नागरिकता संशोधन विधेयक को समर्थन देने के मामले में जनता दल (यूनाइटेड) के उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर पार्टी की चेतावनी के बाद भी अपने रुख से पीछे नहीं हटे और उन्होंने 13 दिसंबर को दोबारा नागरिकता संशोधन कानून को ले कर अपनी नाराजगी जाहिर कर दी.

पार्टी ने प्रशांत किशोर को ऐसी बयानबाजी से बचने की सलाह दी, पर वे अपने रुख से पीछे नहीं हटने का मन बना चुके हैं और इसी बीच उन के ऐसे बगावती तेवर को देखते हुए विपक्षी दलों ने अपने महागठबंधन में उन्हें आने का न्योता दिया है. वैसे, उन के आम आदमी पार्टी से मिलने के भी कयास लगाए गए.

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