इन विज्ञापनों के नीचे विज्ञापनदाता के क्लीनिक का पता दिया गया होता है और मिलने का खास दिन भी लिखा होता है. जब विज्ञापन देने वाले नीम हकीमों के क्लीनिकों में मर्दाना ताकत की चाहत लेकर व्यक्ति जाता है, तो पता चलता है की यहाँ ईलाज करने वाला नीम हकीम किसी किराये के छोटे से कमरे में क्लिनिक चलाते हुए मिल जाता है.

मर्दाना ताक़त को बढ़ाने की चाहत लिए पहुंचा व्यक्ति जब अपने मर्दाना ताकत को बढ़ाने के लिए इन नीम हकीमों से जांच करने और दवाएं देनें को कहता है. तो क्लिनिक चलाने वाला व्यक्ति सामने वाले व्यक्ति को पैंट की जिप खोलने को कहता है और उसके अंग पर टार्च की लाल-पीली रौशनी छोड़ता है. फिर गहरी सांस लेता है और कहता है की मरीज की बचपन की गलतियों के चलते उसकी मर्दाना ताकत में कमी आ गई है. जिसके चलते उसका अंग टेढ़ेपन का शिकार है और अंग की साइज़ का डेवलपमेंट सही से नहीं हुआ है. इसी कारण से व्यक्ति अपने पार्टनर के साथ सेक्स संबध के दौरान जल्दी ही स्खलित हो जाता है.

अब सामने वाले व्यक्ति की हालत देखते बनती है. वह काफी डर जाता है, कहीं ऐसा न हो की पत्नी उसे छोड़ कर किसी गैर मर्द के साथ भाग जाए. फिर वह व्यक्ति हकीम साहब से उस समस्या का निदान पूंछता है. इस पर वह हकीम अपने दराज से नीली-पीली सीसी निकालता है और कहता है उसे घबराने की जरुरत नहीं है. क्यों की उसकी दवाएं मरीज के सेक्स से जुड़े सारे समस्याओं को छूमंतर कर देगी. मरीज के चेहरे पर कुछ सुकून आता है अब हकीम साहब द्वारा मरीज को ईलाज के खर्च के बारे में बताया जाता है. स्वर्ण भस्म की कीमत 2 हजार से 3 हजार रुपये साथ ही महीने भर के दवा के पुड़ियों की कीमत लगभग 30 हजार रूपये यानी कुल ईलाज का खर्च लगभग 32 से 33 हजार रूपये. महीने भर के दवा की कीमत सुन कर व्यक्ति चौंकता है. लेकिन पत्नी को खुश करने और अपनी खोई हुई मर्दाना ताकत को वापस लाने के लिए हकीम साहब के पास ईलाज के लिए गया व्यक्ति  अपनी जमीन गिरवी रखके या पैसे उधार लेकर भी यह ईलाज शुरू कर देता है.

आगे की कहानी पढ़ने के लिए सब्सक्राइब करें

डिजिटल + 24 प्रिंट मैगजीन

(1 साल)
USD10
 
सब्सक्राइब करें

डिजिटल

(1 महीना)
USD2
 
सब्सक्राइब करें
और कहानियां पढ़ने के लिए क्लिक करें...